BMS कोर्स क्या है ? BMS का फुल फॉर्म – विद्यार्थियों के लिए 12वीं पास करने के बाद बहुत सारे कोर्स करने के ऑप्शन होते हैं। कॉमर्स वाले विद्यार्थियों के लिए बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में BBA और MBA कोर्स की तरह BMS भी काफी प्रचलित है। जो छात्र 12वी पास करने के बाद बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में रुचि रखते हैं, उनके लिए BMS एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है। तो आइए हम बीएमएस (BMS) कोर्स के बारे में विस्तार से जानकारी लेते हैं।
BMS का फुल फॉर्म:-
BMS Full form in English :- Bachelor of management study
BMS Full form in Hindi :- प्रबंधन अध्ययन मे स्नातक
बीएमएस ( BMS ) बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में एक पॉपुलर और लोकप्रिय कोर्स माना जाता है। इस कोर्स के अंतर्गत विद्यार्थियों को व्यवसाय प्रबंधन के प्रत्येक पहलू के बारे में जानकारी दी जाती है। इस कोर्स को करने के लिए विद्यार्थियों को 12 वीं पास होना जरूरी होता है। और विद्यार्थियों को 12 वीं में कम से कम 50% होना अनिवार्य होता है।
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इस कोर्स को करने के लिए विद्यार्थियों को नेशनल और यूनिवर्सिटी लेवल पर आयोजित किया जाने वाला एंट्रेंस एग्जाम भी उत्तीर्ण करना पड़ता है। एंट्रेंस एग्जाम से विद्यार्थियों को अपनी मनपसंद कॉलेज चुनने की सहायता मिलती है। एंट्रेंस एग्जाम में यदि कोई विद्यार्थी मेरिट लिस्ट में आया है ,तो उसे स्कॉलरशिप भी प्राप्त होती हैं।
BMS कोर्स क्या है
BMS कोर्स विद्यार्थियों द्वारा बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में किए जाने वाला एक लोकप्रिय कोर्स है। यह प्रबंधक के क्षेत्र में किए जाने वाला एक प्रकार का बैचलर कोर्स है। इस कोर्स की पढ़ाई करने के लिए 3 साल का समय लगता है। इस कोर्स के अंतर्गत प्रबंधन के क्षेत्र से संबंधित पाठ्यक्रम जैसे कि- फाइनेंस, मार्केटिंग, टेक्नोलॉजी, बिजनेस मैनेजमेंट, इकोनामिक, आदि के बारे में विस्तार से पढ़ाया जाता है।
भारत में आजकल ज्यादा से ज्यादा विद्यार्थी बिजनेस में रुचि दिखा रहे हैं। इसीलिए भारत में बीएमएस (BMS) कोर्स को बहुत अधिक महत्व दिया जा रहा है। BBA कोर्स की पढ़ाई बीएमएस (BMS) कोर्स को भी अधिक महत्व दिया जा रहा है। भारत के अलावा इस कोर्स को अन्य देशों और यूनिवर्सिटी में भी पढ़ाया जा रहा है। बीएमएस (BMS )कोर्स वेबसाइट मैनेजमेंट से जुड़ा हुआ एक प्रोफेशनल कोर्स है।
बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में रुचि रखने वाले विद्यार्थियों के लिए यह कोर्स एक बहुत ही अच्छा विकल्प साबित हो रहा है। यह कोर्स छात्रों को व्यवसायिक कार्यो में कौशल विकसित करने में सक्षम है। यह कोर्स को करने के लिए मात्र 3 साल ही लगते हैं। और इस कोर्स के अंतर्गत छात्रों को प्लेसमेंट के भी मौके प्राप्त होते हैं।
बीएमएस कोर्स करने के लिए विद्यार्थियों को सबसे पहले बारवी पास करना होता है ।उसके बाद उन्हें एक एंट्रेंस एग्जाम दिलाना होता है। जिसके सहारे उनको एक अच्छा कॉलेज प्राप्त होता है और उन्हें स्कॉलरशिप भी मिलता है। बीएमएस के अंतर्गत अकाउंट ,मार्केटिंग, बिजनेस से संबंधित विषयों के बारे में पढ़ाया जाता है। बीएमएस कोर्स को सरकारी कॉलेज से करने में प्रतिवर्ष लगभग 10,000 से 200000 रुपए तक का फीस लगता है।
इसके अलावा निजी संस्थानों में यह कोर्स को करने के लिए लगभग 50000 से ₹300000 रुपए तक की फीस लगती है। प्राइवेट कॉलेज में इस कोर्स को करने के लिए हर प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध होती है इसलिए विद्यार्थियों को प्राइवेट कॉलेज में अधिकतर हर प्रकार की शैक्षिक व्यवस्थाओं का पैसा देना होता है।
Conclusion
आज हमने आपको अपने आर्टिकल में बीएमएस कोर्स की जानकारी दी है। आशा है कि आपको इस जानकारी से कुछ लाभ हुआ होगा। जिस विद्यार्थी को बिजनेस और मैनेजमेंट के क्षेत्र में रुचि है, तो उस विद्यार्थी के लिए यह कोर्स एक बेस्ट ऑप्शन है। बीएमएस कोर्स की मदद से विद्यार्थी अपना सुनहरा भविष्य बनाने का मौका प्राप्त कर सकते हैं।